भवानी अष्टकम् | Bhavani Ashtakam
भवानी अष्टकम की रचना आदि शंकराचार्य द्वारा की गई है। माँ भगवती को समर्पित यह स्तोत्र एक सुन्दर रचना है । यह स्तोत्र भवानी अष्टकम न केवल दिव्य है बल्कि भक्ति और प्रेम से भर देता है। भवानी अष्टकम में ८ श्लोक हैं जिसमें माता के कठोर रूप का वर्णन हैं फिर भी दया से भरी हुई हैं। इसके अलावा, मां भवानी जो कोई भी इस स्तोत्र को प्यार और पूरी भक्ति के साथ पढ़ता है, वह शक्ति, स्वास्थ्य और उन्नति प्रदान करता है।
भवानी अष्टकम् स्तोत्र | Bhavani Ashtakam Stotra
न तातो न माता न बंधुर्न दाता
न पुत्रो न पुत्री न भृत्यो न भर्ता
न जाया न विद्या न वृत्तिर्ममैव
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि ॥ 1 ॥
भवाब्धावपारे महादुःखभीरु
पपात प्रकामी प्रलोभी प्रमत्तः
कुसंसारपाशप्रबद्धः सदाहं
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि ॥ 2 ॥
न जानामि दानं न च ध्यानयोगं
न जानामि तंत्रं न च स्तोत्रमंत्रम्
न जानामि पूजां न च न्यासयोगं
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि ॥ 3 ॥
न जानामि पुण्यं न जानामि तीर्थं
न जानामि मुक्तिं लयं वा कदाचित्
न जानामि भक्तिं व्रतं वापि मातः
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि ॥ 4 ॥
कुकर्मी कुसंगी कुबुद्धिः कुदासः
कुलाचारहीनः कदाचारलीनः
कुदृष्टिः कुवाक्यप्रबंधः सदाहं
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि ॥ 5 ॥
प्रजेशं रमेशं महेशं सुरेशं
दिनेशं निशीथेश्वरं वा कदाचित्
न जानामि चान्यत् सदाहं शरण्ये
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि ॥ 6 ॥
विवादे विषादे प्रमादे प्रवासे
जले चानले पर्वते शत्रुमध्ये
अरण्ये शरण्ये सदा मां प्रपाहि
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि ॥ 7 ॥
अनाथो दरिद्रो जरारोगयुक्तो
महाक्षीणदीनः सदा जाड्यवक्त्रः
विपत्तौ प्रविष्टः प्रनष्टः सदाहं
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि ॥ 8 ॥
॥ इति श्रीमदादिशंकराचार्यविरचितं भवान्यष्टकं संपूर्णम् ॥
सुने भवानी अष्टकम् | Listen Bhavani Ashtakam
भवानी अष्टकम् पाठ के लाभ | Benefits of Bhavani Ashtakam
भवानी अष्टकम् के पाठ से अनेक लाभ होते हैं। इसके निम्न लाभ हैं:
- शुभ फलों की प्राप्ति: भवानी अष्टकम् का पाठ करने से शुभ फल प्राप्त होता है। यह श्लोक संग्रह व्यक्ति के जीवन में खुशी, सफलता, शांति, सुख, समृद्धि और सम्पन्नता आदि के लिए वरदान होता है।
- शरीर और मन को शुद्ध करना: भवानी अष्टकम् का पाठ करने से मानसिक चंचलता, तनाव और चिंताओं से छुटकारा मिलता है। इसके अलावा, यह श्लोक संग्रह व्यक्ति के शरीर को भी शुद्ध करता है और उसे रोगों से बचाता है।
- भय को दूर करना: भवानी अष्टकम् का पाठ करने से भय और दुख भावना से मुक्ति मिलती है। यह श्लोक संग्रह व्यक्ति को आत्मविश्वास और संतुलन का अनुभव कराता है।
- संयम बढ़ाना: भवानी अष्टकम् का पाठ करने से व्यक्ति का संयम बढ़ता है|
- माँ भवानी की कृपा: भवानी अष्टकम् के पाठ से माँ भवानी की कृपा मिलती है और उनकी आशीर्वाद से जीवन में सफलता मिलती है।
- संतुलित जीवन: भवानी अष्टकम् के पाठ से जीवन में संतुलितता आती है और अंतरंग शांति होती है।
- समस्त दुःखों से मुक्ति: भवानी अष्टकम् के पाठ से समस्त दुःखों से मुक्ति मिलती है।
- संघर्ष का समाधान: भवानी अष्टकम् के पाठ से संघर्षों का समाधान होता है और जीवन में सफलता प्राप्त होती है।
इसका पाठ माँ भवानी की पूजा और उनकी महिमा के गुणगान के लिए किया जाता है। भवानी अष्टकम् का पाठ किसी भी समय और किसी भी स्थान पर किया जा सकता है। यह श्लोक संग्रह हिंदू धर्म के विभिन्न पाठ्यक्रमों में उपयोग किया जाता है।